*इस फिल्म के द्वारा पहली बार किसी बर्मन ने आर के बैनर के लिए काम किया।
*तब जोरों पर रहने वाले युवा पीढ़ी के पसंदीदा संगीतकार आर डी बर्मन को इस फिल्म में संगीत देने का अवसर दिया गया।
*वैसे ही जानेमाने गीतकार मजरुह सुलतानपूरी को भी पहली बार आर के फिल्म्स के लिए गीत लिखने का मौका मिला।
*खुबसुरत अदाकारा रेखा का भी पहली बार RK ग्रुप में प्रवेश हुआ।
*रणधीर कपूर को दूसरी बार निर्देशक बनने का मौका मिला। इसके पहले फिल्म ‘कल आज और कल’ का निर्देशन वो कर चुके थे।
*यही फिल्म जानेमाने अभिनेता प्रेमनाथ की RK के लिए आखरी फिल्म साबित हुई।
*और RK के आधारस्तंभ गायक मुकेश ने RK के लिए आखरी बार इसी फिल्म में गाया। राज कपूर ने मुकेश की आवाज़ में गाया हुआ
आखरी गीत भी इसी फिल्म में आया..
एक दिन बिक जाएगा माटी के मोल
जग में रह जायेंगे प्यारे तेरे बोल
दूजे के होठों को देकर अपने गीत
कोई निशानी छोड़ फिर दुनिया से डोल
ये गीत इस फ़िल्म की आत्मा थी
क्या यह फ़िल्म आने देखी है?